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    खनन, क्रेशर, निर्माण तथा तोडफ़ोड़ गतिविधियां पूरी तरह से बंद

    नारनौल, 08 नवम्बर (हरियाणा न्यूज़ ब्यूरो)

    प्रदूषण का स्तर बढे कई दिन हो गए, लेकिन कहीं किसी प्रतिबन्ध का पालन नहीं हो रहा था| आज आखिर जिला प्रशासन की नींद खुली और उपायुक्त मोनिका गुप्ता ने लघु सचिवालय में जिला के अधिकारियों की बैठक ली। डीसी ने अधिकारियों को स्पष्ट निर्देश दिए कि कमीशन फॉर एयर क्वालिटी मॉनिटरिंग के निर्देश अनुसार अधिकारी ग्रेप-4 के अनुसार कार्रवाई सुनिश्चित करें। अगर जिला में कहीं भी आदेशों की पालना नहीं हो रही है तो सख्त कार्रवाई की जाए। उन्होंने निर्देश दिए कि हरियाणा राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के अधिकारी लगातार मॉनिटरिंग करें तथा आदेशों की अवहेलना होने पर तुरंत जुर्माना लगाएं।
    डीसी ने कहा कि खराब एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) के कारण एनसीआर क्षेत्र में ग्रेप-4 लागू होते ही खनन, क्रेशर तथा अन्य निर्माण तथा तोडफ़ोड़ गतिविधियां पूरी तरह से बंद हैं। इन आदेशों की सख्ती से पालन की जाए। उन्होंने कहा कि एक्यूआई के 450 या उससे ऊपर पहुंचने से कम से कम तीन दिन पहले ग्रेप के चरण 4 के तहत राजमार्ग, सडक़, फ्लाईओवर, ओवर ब्रिज, पावर ट्रांसमिशन, पाइपलाइन आदि सार्वजनिक परियोजनाओं में भी निर्माण एवं तोडफ़ोड़  गतिविधियों पर प्रतिबंध लगता है। हांलांकि जिला में फिलहाल एयर क्वालिटी इंडेक्स 280-90 के बीच चल रहा है, किंतु एनसीआर क्षेत्र होने के कारण यहां भी इन सभी गतिविधियों पर रोक रहेगी।

    सॉलिड वेस्ट में आग लगने पर कटेगा चालान:

    उपायुक्त ने कहा कि जिला में कहीं भी कूड़ा, पते तथा अन्य किसी भी प्रकार के सॉलिड वेस्ट पर आग लगाने पर जुर्माना लगाया जाएगा। कोई भी नागरिक इन गतिविधियों में शामिल मिलता है तो अधिकारी उस पर तुरंत कार्रवाई करें। संबंधित नगर परिषद तथा नगरपालिका के अधिकारी लगातार फील्ड में रहेंगे तथा इस संबंध में कार्रवाई सुनिश्चित करेंगे। उन्होंने कहा कि नगर परिषद व पालिका के ठोस, निर्माण एवं तोडफ़ोड़ और खतरनाक कचरे का नियमित उठाव सुनिश्चित करना होगा ताकि उनके अवैध डंपिंग को रोका जा सके।
    पटाखे फोडऩे पर रखी जाए निगरानी:
    डीसी ने कहा कि जिला में कहीं भी अवैध पटाखों की बिक्री नहीं होनी चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए कि वह यह सुनिश्चित करें कि नियमों के खिलाफ कहीं भी पटाखे न फोड़े जाएं। उन्होंने संबंधित नगर परिषद द्वारा नगर पालिका के अधिकारी तथा एसएचओ को स्पष्ट निर्देश दिए कि वह अपने अधिकार क्षेत्र में यह सुनिश्चित करेंगे कि उनके क्षेत्र में अंधाधुंध पटाखों का प्रयोग ना हो। जो भी पटाखे फोड़ रहे हैं, उनसे यह पूछा जा सकता है कि वे पटाखे कहां से लाए हैं। इस तरह वे अवैध पटाखों की बिक्री पर पूरी तरह से रोक लगा पाएंगे।
    पेड़ों पर पानी का छिडक़ाव करें:
    उपायुक्त ने कहा कि नगर परिषद व नगरपालिका में पेड़ पौधे पर पानी का छिडक़ाव करें। इसी प्रकार जहां भी सड़कें टूटी हुई हैं या धूल उड़ती है, वहां पर पानी का छिडक़ाव करें। मुख्य सडक़ों पर स्विंपग मशीन के माध्यम से सफाई की जाए। उन्होंने सभी विभागों के अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे यह सुनिश्चित करें कि उनके यहां कोई भी ऐसी गतिविधियां न हो जिससे धूल उड़ती हो।
    वायु प्रदूषण के मद्देनजर धारा 144 लागू करते हुए स्टोन क्रेशिंग, खनन व अन्य गतिविधियों पर रोक:
    जिलाधीश मोनिका गुप्ता ने वायु प्रदूषण के प्रसार को रोकने व आमजन के स्वास्थ्य और पर्यावरण की सुरक्षा के मद्देनजर तत्काल प्रभाव से धारा 144 लागू की है।
    आदेशों में स्पष्ट किया है कि प्रतिकूल मौसम तथा अन्य कारणों से वायु की गुणवत्ता में गिरावट आई है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए जिला में सभी स्टोन क्रेशिंग इकाइयों के संचालन, खनन और संबंधित गतिविधियों, निर्माण सामग्री की लोडिंग और अनलोडिंग, कच्चे माल के मैन्युअल हस्तांतरण पर प्रतिबंध रहेगा।
    इसमें कन्वेयर बेल्ट के माध्यम से जिसमें फ्लाई ऐश और कच्ची सडक़ों पर वाहनों की आवाजाही, निर्माण और विध्वंस गतिविधियां, डीजी सेट का संचालन, सडक़ों पर कचरा, पत्ते, प्लास्टिक, रबर और अन्य दहनशील सामग्री सहित किसी भी प्रकार की अपशिष्ट सामग्री को जलाना भी शामिल है। आदेश का उल्लंघन करते पाए जाने वाले व्यक्तियों, समूहों या संस्थाओं को कानून के प्रासंगिक प्रावधानों के अनुसार दंडित किया जाएगा।
    इस बैठक में अतिरिक्त उपायुक्त वैशाली सिंह, एएसपी प्रबिना पी, एसडीएम महेंद्रगढ़ हर्षित कुमार, एसडीएम नारनौल मनोज कुमार, नगराधीश डा. मंगल सैन व आरओ पॉल्यूशन कृष्ण कुमार के अलावा अन्य अधिकारी भी मौजूद थे।

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