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    नशा के कारोबार में संलिप्त की संपत्ति हो सकती है अटैच : उपायुक्त

    नारनौल, 11 जुलाई (हरियाणा न्यूज़ ब्यूरो)।
    युवाओं को नशे जैसी बुराई से दूर रखने के लिए सरकार ने कई कदम उठाए हैं। जिला में नशा से संबंधित कारोबार करने वालों के खिलाफ जिला प्रशासन सख्त से सख्त कार्रवाई करेगा। ऐसे लोगों की संपत्ति भी अटैच की जा सकती है। प्रशासन की संयुक्त टीम लगातार ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करें। यह निर्देश उपायुक्त मोनिका गुप्ता ने आज हरियाणा के मुख्य सचिव संजीव कौशल के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई 5वीं राज्य स्तरीय नारको कोऑर्डिनेशन मीटिंग के बाद अधिकारियों को दिए।

    उन्होंने कहा कि युवाओं को क्राइम और नशे से दूर रखने के लिए शिक्षण संस्थाओं में जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। जिला में स्वापक नियंत्रण ब्यूरो के निर्देश अनुसार नशा मुक्ति केंद्र चलाए जा रहे हैं। उपायुक्त ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे समय-समय पर नशा मुक्ति केंद्रों का औचक निरीक्षण करें तथा वहां पर दी जा रही सुविधाओं का जायजा लें।
    इस बैठक में पुलिस अधीक्षक , एसडीएम नारनौल मनोज कुमार, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ रमेश चंद्र आर्य, डीएफओ रोहताश सिंह तथा डीएसपी अशोक कुमार के अलावा अन्य विभागों के अधिकारी भी मौजूद थे।

    नशा छुड़ाने के लिए जिला में चल रहे दो नशा मुक्ति केंद्र

    उपायुक्त मोनिका गुप्ता ने जिला के नागरिकों से आह्वान किया कि अगर उनके किसी परिजन को नशे की लत पड़ गई है तो वह जिला में चलाए जा रहे नशा मुक्ति केंद्र से संपर्क करें। जिला में दो नशा मुक्ति केंद्र सरकार की ओर से चलाए जा रहे हैं। एक केंद्र नागरिक अस्पताल नारनौल तथा दूसरा केंद्र बाल भवन की तरफ से चलाया जा रहा है। इन दोनों जगह पर मुफ्त में रहन-सहन तथा दवाइयों की व्यवस्था की गई है। अगर किसी नागरिक को नशा छुड़वाना है तो इन दोनों नशा मुक्ति केंद्रों में से किसी एक से संपर्क कर सकता है। यहां दाखिले के लिए भी किसी प्रकार की फीस आदि नहीं ली जाती। उन्होंने बताया कि अगर सही तरीके से नशा मुक्ति केंद्र के दिशा निर्देशों का पालन किया जाए तो आसानी से नशे की लत छूट सकती है।

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